यह आदिनाथ दादा की सुंदर और भक्तिमय मूर्ति आपके पूजा स्थल और श्रद्धा को और भी विशेष बना देगी। भगवान आदिनाथ, जिन्हें भगवान ऋषभदेव भी कहा जाता है, जैन धर्म के प्रथम तीर्थंकर हैं और मोक्ष मार्ग के प्रकाश स्तंभ माने जाते हैं। उनकी यह 11 इंच की प्रतिमा दिव्यता और शांति का प्रतीक है, जो आपके घर, मंदिर या ऑफिस में एक पवित्र वातावरण बनाए रखने में मदद करेगी।
- भगवान आदिनाथ की यह मूर्ति ध्यान मुद्रा में विराजमान है, जो आंतरिक शांति और आत्मिक उन्नति को दर्शाती है।
- इसे घर, दुकान, कार्यालय या मंदिर में रखने से सकारात्मकता और आध्यात्मिक ऊर्जा का संचार होता है।
- यह मूर्ति लंबे समय तक चमकदार और नई जैसी बनी रहती है।
- इसे जैन पर्व, तप अनुमोदना, गृह प्रवेश, या किसी भी शुभ अवसर पर भेंट किया जा सकता है।
यह मूर्ति न केवल एक धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि मन की शांति और मोक्ष मार्ग की प्रेरणा भी देती है। अपने घर या मंदिर में इसे स्थापित करें और भगवान आदिनाथ की कृपा प्राप्त करें।