सापडा को ज्ञान का उपकरण भी कहा जाता है, क्योंकि इसका उपयोग प्रतिक्रमण के पुस्तकों को पढ़ने और धार्मिक सूत्रों का पढ़ने करने के लिए किया जाता है। ऐसा माना जाता है कि सापडा के साथ पढ़ने से हम सूत्रों को तेज़ी से सीख सकते हैं। यह प्रीमियम और सुंदर फिनिश वाला लाल-सुनहरा ऐक्रेलिक सापडा (ठवनी) एक शानदार कला है। उपयोग न होने पर इसे मोड़ा जा सकता है, जिससे इसे सुरक्षित और सुविधाजनक तरीके से रखा जा सके। इस सापडा को भारत के कुशल कारीगरों ने हस्तनिर्मित किया है। नेतार (सेवनवुड) एक बहुत ही शुद्ध और सकारात्मक प्रकार की लकड़ी है।
इसमें निम्नलिखित की नक्काशी की गई है:
- अष्टमंगल
- 14 स्वप्न
- शंख
- स्वस्तिक